चाय के महत्व लाभ और इतिहास

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चाय के महत्व

इतनी बड़ी धरती पर 10 अरब से ज्यादा की आबादी , 190 से ज्यादा देश , जाने कितने धर्म-सम्प्रदाय , जाती -पाती , वेश-भूषा , अनगिनत भाषाएँ लेकिन फिर भी सुबह के शुरुआत होती है तो चाय से | चाय का क्या महत्त्व है वो ये आंकड़े काफी है बताने के लिए | ऐसा कहा जाता है की यदि चाय पीनेवाले का एक धर्म होता तो वो दुनियाँ में सबसे ज्यादा फॉलो करने वाला धर्म होता |

चाय का इतिहास

ऐसा कहा जाता है कि आज से करीब 5 हजार साल पहले चीन में सम्राट शेन नुग्न की बादशाहत थी. वे खुद को स्वस्थ्य रखने के लिए रोजाना खाली पेट गर्म पानी पीते थे. यह पानी वे सुबह टहलने के बाद अपने उद्यान में बैठकर पीते थे.

एक दिन वे रोजाना की तरह टहलकर वापिस आए और कुर्सी पर बैठे. खानसामे ने उनके लिए गर्म पानी का गिलास लाकर रखा. सम्राट अपने अन्य साथियों के साथ चर्चा में व्यस्त थे कि तभी गर्म पानी में पास की झाड़ी की कुछ पत्तियां आकर गिर गईं, जिससे पानी का रंग बदल गया और उसमें खुशबू आने लगी.

सम्राट ने वह पानी पीना चाहते थे, पर दरबारियों ने कहा कि य​ह जहरीली पत्तियां भी हो सकती हैं, लेकिन उन्होंने किसी की नहीं सुनी और वह पानी पी लिया.

पानी पीकर उन्हें ताजगी महसूस हुई. सम्राट ने महल के सभी खानसामों को बुलाकर उन पत्तियों की तलाश करवाई. साथ ही आदेश दिया कि अब रोज उन्हें इन्हीं पत्तियों का उबला हुआ पानी दिया जाए.  तब से न केवल सम्राट, बल्कि अन्य दरबारी भी उस पेय की पीने लगे.

चार हजार से अधिक वर्षों के बाद, हम अभी भी इस सरल लेकिन सुंदर अनुष्ठान का आनंद लेते हैं: पीते हैं, चिंतन करते हैं और सुनते हैं। चाय में 300 से अधिक औषधीय गुण होते हैं और यह ध्यान का सबसे सरल रूप है।  चीन में शिनॉन्ग को चीनी चिकित्सा के जनक, किसानों, चावल के व्यापारियों, और एक्यूपंक्चर के चिकित्सकों के रूप में  प्रतिष्ठित किया जाता है |

चीन में चाय आम होने के कारन वहाँ के बौद्ध भिक्षु के द्वारा इस स्वाद के धीरे -धीरे भारत आया | और आगे चल कर यह Global पेय बन गया |

चाय और और उसके महत्त्व क्या हैं?

हमारी व्यस्त दिनचर्या में ध्यान करने का समय निकलना काफी मुश्किल है | हालांकि , यहाँ उन लोगों के आसान तरीके से अपने आपको ऊर्जावान बना सकते है | दिन में एक बार एक कप चाय तैयार करें – सुबह में, दोपहर के भोजन के बाद या दोपहर में – और वर्तमान समय पर ध्यान केंद्रित करने के लिए चाय का उपयोग करें।

चाय का उपयोग  हमें एक नियमित दिन के दौरान एक आरामदायक ठहराव प्रदान करके एक सांसारिक क्षण को एक विशेष अवसर में बदलने के लिए आमंत्रित करते हैं। वे एक सामाजिक गतिविधि भी हो सकते हैं, जो आपको रिश्तों को मजबूत करने, विश्वास, वफादारी और दोस्ती को विकसित करने के लिए एक संस्कार में बदल देता है, या बस एक शांतिपूर्ण वातावरण में दोस्तों के साथ जोड़ता है। शायद इसलिए किसी भी रिश्ते की बुनियाद चाय ही रखती है , है ना

मन की सही स्थिति के साथ एक अच्छा कप चाय तैयार करना और आनंद लेना अधिक पारंपरिक ध्यान का एक सही विकल्प हो सकता है। इन हर्बल जादू मंत्रों में से एक को अपनी आध्यात्मिकता की दिनचर्या में शामिल करें और एक मुस्कान के साथ दिन की शुरुआत करें, या एक दोपहर समारोह के रूप में उपयोग करें।

चाय पीने के आध्यात्मिक लाभ

एक दैनिक चाय ध्यान के मन और शरीर पर कई अद्भुत लाभ हो सकते हैं:

  1. कृतज्ञता, करुणा और आत्म-प्रेम की भावनाओं को बढ़ावा देता है।
  2. चिंता को कम करता है और मूड में सुधार करता है।
  3. एक सकारात्मक नोट पर दिन शुरू करने में आपकी मदद करता है।
  4. कुछ प्रकार की चाय आपको अपना वजन कम करने, बेहतर नींद लेने, दर्द को दूर करने और बहुत कुछ करने में मदद कर सकती है।
  5. यह एक मज़ेदार सामाजिक गतिविधि है। दोस्तों और परिवार के लिए चाय पीना आपको रिश्ता मजूबत करने में भी मदद करती है |

चाय के प्रकार और उनके लाभ :-

Green Tea

इन दिनों ग्रीन टी का बहुत चलन हो गया है। यह इस चाय का प्रोसेसिंग का तरीका काली चाय पत्ती से अलग होता है। यह शरीर के लिए फायदेमंद होती है। इसे बनाने के लिए गर्म पानी में 2 -3 मिनट हरी चाई की पत्ती डाल कर रखी जाती है। फिर इसे छान लेते हैं।

इसमें स्वाद के लिए नींबू का रस , पुदीना या शहद आदि मिलाकर पीते हैं।  ग्रीन टी के पूरे फायदे पाने के लिए इसमें चीनी नहीं मिलाई जाती है।

  1. प्रजनन क्षमता बढ़ाता है
  2. प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ाता है
  3. अल्जाइमर को रोकता है
  4. लोकप्रिय कुछ कैफीन के साथ एनर्जी बूस्ट

Black Tea

कुछ लोग चाई में दूध डालना पसंद नहीं करते। इस प्रकार की चाई बनाने के लिए पानी में चाई पत्ती डाल कर उबाल लेते है। इस पानी को कप में छानकर इसमें चीनी मिलाकर या बिना चीनी मिलाये पीते हैं।

  1. नाश्ते के लिए बढ़िया
  2. उच्च कैफीन सामग्री
  3. शक्ति, सतर्कता को बढ़ावा देता है
  4. नकारात्मकता को दोहराता है

Herbal Tea:

  हर्बल chai बनाने के लिए सिर्फ हर्ब्स यानि जड़ी बूटी का उपयोग किया जाता है। इसका नाम टी भले ही हो लेकिन असल में यह chai नहीं होती है। क्योंकि इसमें कैमेलिया सिनेन्सिस पौधे की पत्तियां उपयोग में नहीं आती है। इस वजह से इसमें कैफीन भी नहीं होता है।

  1. कैफीन के बिना तंत्रिका तंत्र को उत्तेजित करता है
  2. सुस्ती और नींद को बढ़ावा देता है
  3. वजन घटाने में मदद करता है
  4. तनाव को रोकता है

Milk Tea :

  भारत में सबसे ज्यादा उपयोग की जानेवाली चाय दूधवाली चाय है | एक बर्तन में आधा कप दूध और आधा कप पानी मिलाकर गैस पर उबलने के लिए रखा जाता है। इसमें एक चम्मच चाय पत्ती और एक चम्मच चीनी डाली जाती है। जब यह उबलने लगती है तो इसे हिलाया जाता है। चार पाँच उबाल आने के बाद इसे छलनी की मदद से कप में छान लिया जाता है।

Lemon Tea :

लेमन टी भी बहुत फैशन में है। इसके लिए गर्म पानी में दो तीन मिनट चाई पत्ती को डालकर रखा जाता है। इसे छानकर इसमें नींबू का रस मिलाया जाता है। फिर इसमें चीनी या शहद ,  पुदिना , सोंठ का पाउडर , काला नमक आदि इनमे से जो भी पसंद हो मिलाकर पिया जाता है।

  1. कैंसर से बचाव लेमन टी में पोलीफीनोल और विटामिन सी अधिक मात्रा में पाया जाता है. …
  2. विषाक्त पदार्थ नींबू से शरीर में विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद मिलती है. …
  3. प्रतिरोधक क्षमता लेमन टी शरीर की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाती है. …
  4. मूड अच्छा रहता है

Ginger Tea

ये चाय दूध वाली चाय का ही एक प्रकार है|  दूध , पानी , Tea Leaf और चीनी के साथ एक छोटा सा टुकड़ा अदरक का भी थोड़ा कूट कर मिला दिया जाता है और उबलने के बाद Chai को छान लेते है। इससे चाय में अदरक का स्वाद भी आता है और अदरक से होने वाले लाभ भी मिल जाते है।

  1. ब्लड सर्कुलेशन बढ़ाने में मददगार.
  2. दर्द में राहत दिलाने में कारगर.
  3. माहवारी के दौरान होने वाली परेशानी में राहत.
  4. मितली और दस्त पर काबू पाने के लिए.
  5. रोग-प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में.
  6. सांस संबंधी बीमारियों में असरदार.
  7. कोलेस्ट्रॉल लेवल को कम करने के लिए.

White Tea :

यह चाय का सबसे कम प्रोसेस किया जाने वाला स्वरूप है, जो कि शानदार स्वाद और खुशबू देता है. यह एंटीबैक्टीरियल गुणों से भरपूर होती है और यह कोलेस्ट्रोल एवं ब्लड प्रेशर को कम करने में मददगार है. इसमें कैफीन की मात्रा कम होने के चलते, जो लोग अपने कैफीन सेवन पर ध्यान देते हैं उनके लिए यह सर्वश्रेष्ठ विकल्प है. 

  1. उच्च एंटीऑक्सीडेंट का स्तर
  2. कम कैफीन सामग्री
  3. लाइट के स्वाद
  4. यकृत समारोह को उत्तेजित करता है

इसके आलावा भी कई और भी तरह की चाय प्रचलन में है लेकिन मुख्यतः यही चाय हमारे देश में उपयोग किया जाता है |

किसी भी जड़ी बूटी का उपयोग करने से पहले, सुनिश्चित करें कि आप जानते हैं कि आप क्या ले रहे हैं। ऐसी चाय या इन्फ़्यूज़न न पिएं जिनसे आपको एलर्जी हो सकती है।

“एक कप चाय दो दिलों को मिला देती है,
एक कप चाय दिन भर की थकान मिटा देती है। “

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